स्वामी अनंताचार्य बने जगद्गुरु रामानुजाचार्य
जगद्गुरु रामानुजाचार्य का विधिवत पट्टाभिषेक
श्रृंगवेरपुर पीठ, प्रयागराज में रामानुजाचार्य संप्रदाय से कथावाचक दमोह के स्वामी अनंताचार्य को जगद्गुरु रामानुजाचार्य का पद प्रदान किया गया। इस कार्यक्रम का आयोजन पीठाधीश्वर जगद्गुरु स्वामी नारायणाचार्य शांडिल्य जी महाराज के नेतृत्व में किया गया।

संत समाज की उपस्थिति में हुआ आयोजन
इस ऐतिहासिक अवसर पर विभिन्न संत और आचार्यों की उपस्थिति देखी गई:
संत और आचार्यगण | स्थान या आश्रम |
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परमहंसाचार्य ब्रह्मानंद सरस्वती | दंडी संन्यास आश्रम |
आचार्य चंद्र देव जी | सच्चा बाबा आश्रम |
महंत अधिकारी हनुमान दास जी महाराज | गऊघाट |
सनातन धर्म को मिलेगा बल
जगद्गुरु स्वामी शांडिल्य जी महाराज ने कहा कि स्वामी अनंताचार्य के जगद्गुरु बनने से सनातन धर्म को मजबूती मिलेगी और धर्म का प्रचार-प्रसार व्यापक स्तर पर होगा।
स्वामी अनंताचार्य का योगदान
स्वामी अनंताचार्य, मध्य प्रदेश के दमोह से प्रसिद्ध कथावाचक हैं। अब तक वे 2,000 से अधिक श्रीमद्भागवद् और श्रीराम कथा कर चुके हैं। उन्होंने कहा कि उनका उद्देश्य भावी पीढ़ी को जागरूक कर सनातन धर्म के प्रचार-प्रसार को आगे बढ़ाना है।
जगद्गुरु पद की गरिमा और उद्देश्य
जगद्गुरु स्वामी शांडिल्य जी महाराज ने बताया कि यह पद धर्म और समाज को जोड़ने के लिए दिया गया है। यह आयोजन समाज सुधार और धर्म उत्थान का प्रतीक है।
यह पट्टाभिषेक न केवल धार्मिक, बल्कि सामाजिक दृष्टि से भी अत्यंत महत्वपूर्ण है।
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